हल्द्वानी ब्लाक की ग्राम पंचायत सीटों के आरक्षण की सूची सार्वजनिक होने से पहले ही जिला पंचायत राज अधिकारी दफ्तर से लीक हो गई. सोशल मीडिया में यह सूची वायरल होती रही. सीडीओ ने मामले को गंभीरता से लेते हुए तीन सदस्यीय जांच कमेटी गठित की है. तीन सदस्यीय जांच कमेटी में जिला विकास अधिकारी रमा गोस्वामी, एडीपीआरओ अखिलेश शुक्ला और एनआईसी प्रभारी राजेश जोशी को शामिल किया गया है. विकास भवन स्थित जिला पंचायत राज अधिकारी कार्यालय में पिछले काफी दिनों से ग्राम पंचायतों, क्षेत्र पंचायतों और जिला पंचायत की सीटों के आरक्षण और आवंटन की सूची तैयार की जा रही थी.
बृहस्पतिवार की शाम को शासन के निर्देश के बाद जिला प्रशासन को इस सूची को सार्वजनिक किया जाना था लेकिन शासन ने शाम पांच बजे से पहले ही जिला प्रशासन के अधिकारियों को 27 अगस्त को सूची जारी करने के निर्देश जारी कर दिए. लेकिन शासन के निर्देश आने से पहले ही दोपहर बाद हल्द्वानी विकास खंड के ग्रामसभाओं में आरक्षण की सूची सोशल मीडिया में वायरल हो गई. जिसके बाद से ही जिला पंचायत राज अधिकारी (डीपीआरओ) दफ्तर की कार्यप्रणाली सवालों के घेरे में आ गई है. सीडीओ विनीत कुमार का कहना है कि आरक्षण की सूची के वायरल होने की खबर सामने आ रही है जिसकी जांच के लिए टीम गठित की गई है जांच की रिपोर्ट सामने आते ही आरोपियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी.
बृहस्पतिवार की शाम को शासन के निर्देश के बाद जिला प्रशासन को इस सूची को सार्वजनिक किया जाना था लेकिन शासन ने शाम पांच बजे से पहले ही जिला प्रशासन के अधिकारियों को 27 अगस्त को सूची जारी करने के निर्देश जारी कर दिए. लेकिन शासन के निर्देश आने से पहले ही दोपहर बाद हल्द्वानी विकास खंड के ग्रामसभाओं में आरक्षण की सूची सोशल मीडिया में वायरल हो गई. जिसके बाद से ही जिला पंचायत राज अधिकारी (डीपीआरओ) दफ्तर की कार्यप्रणाली सवालों के घेरे में आ गई है. सीडीओ विनीत कुमार का कहना है कि आरक्षण की सूची के वायरल होने की खबर सामने आ रही है जिसकी जांच के लिए टीम गठित की गई है जांच की रिपोर्ट सामने आते ही आरोपियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी.
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